महाकुंभ में चतुर्दिक जाम के बाद एक्शन में सीएम योगी, STF चीफ को भेजा प्रयागराज…मेलाक्षेत्र में नया ट्रैफिक प्लान लागू
प्रयागराजः महाकुंभ को आज एक माह पूरे हो गए। बीते 30 दिनों में 44.74 करोड़ से ज्यादा लोगों ने संगम में आस्था की डुबकी लगाई। वहीं आज भी सुबह 8 बजे तक 49.68 लाख श्रद्धालुओं ने संगम में डुबकी लगाई। 12 फरवरी को होने वाले माघ पूर्णिमा स्नान को लेकर प्रयागराज में नई ट्रैफिक व्यवस्था लागू की गई है। क्योंकि बीते दो दिन प्रयागराज चतुर्दिक जाम लगा है। 20-20 किलोमीटर तक जाम लगा हुआ है। बिगड़ी ट्रैफिक व्यवस्था को लेकर अखिलेश सरकार पर हमलावर हैं। इस बीच योगी आदित्यनाथ ने फिर से अपने हांथ में मेले की कमान ली।
योगी ने सोमवार शाम को महाकुंभ को लेकर समीक्षा बैठक की। कहा- माघ पूर्णिमा पर ट्रैफिक और क्राउड मैनेजमेंट के नियम सख्ती से लागू करें। सड़कों पर वाहनों की कतार नहीं लगनी चाहिए, न ही जाम की स्थिति होनी चाहिए।
नया ट्रैफिक प्लान
इसके अलावा 10 फरवरी से 13 फरवरी तक के लिए नया ट्रैफिक प्लान तैयार किया गया है। इसके तहत मेले में कोई भी वाहन नहीं चलेगा। सिर्फ प्रशासनिक अधिकारियों की गाड़ी और स्वास्थ्य विभाग के वाहन चलेंगे। वहीं व्यवस्था संभालने के लिए सीएम ने STF चीफ को विशेष विमान से प्रयागराज भेजा है। वहीं 52 नए IAS, IPS और PCS अफसरों को मेले में भेजा गया है। सीएमओं से जारी आदेश में सभी अधिकारियों को तत्काल ड्यूटी ज्वाइन करने को कहा गया है।

सीएम ने दिए ये निर्देश
उन्होंने कहा- पार्किंग स्थल से मेला परिसर तक शटल बसों की संख्या बढ़ाई जाए। पार्किंग स्थलों का उचित प्रबंधन करें। प्रयागराज के किसी भी स्टेशन पर अत्यधिक भीड़ इकट्ठा न हो। मेला स्पेशल ट्रेनें और परिवहन निगम की अतिरिक्त बसें चलाई जाएं। हर श्रद्धालु को सुरक्षित उसके घर तक पहुंचाने की जिम्मेदारी हमारी है।संगम आने का पैदल मार्ग- श्रद्धालु जीटी जवाहर मार्ग से प्रवेश करेंगे। काली रैम्प से होते हुए संगम अपर मार्ग से संगम तक पहुंचेंगे। संगम से वापसी का पैदल मार्ग – संगम क्षेत्र से अक्षयवट मार्ग होते हुए इंटरलॉकिंग वापसी मार्ग पर चलेंगे। इसके बाद त्रिवेणी मार्ग से होते हुए वापस जा सकेंगे।
प्रशासन का फेलियर नहीं हैः डीजीपी
वहीं DGP प्रशांत कुमार ने कहा, लगातार उमड़ रहे करोड़ों श्रद्धालुओं की वजह से ट्रैफिक में लोगों को देरी हो रही है। इसे प्रशासनिक असफलता नहीं माना जाना चाहिए। श्रद्धालुओं की असाधारण संख्या की वजह से ऐसा हो रहा है।