मैं तुर्किए में पुतिन से मिलने को इच्छुक : जेलेंस्की

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कीव। यूक्रेन के राष्ट्रपति वोलोदिमिर जेलेंस्की ने सोमवार को अपने रूसी समकक्ष व्लादिमीर पुतिन के साथ दोनों देशों के बीच चल रहे संघर्ष को समाप्त करने के लिए चर्चा करने की इच्छा व्यक्त की। यह बयान अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप की ओर से यूक्रेन से रूसी राष्ट्रपति पुतिन द्वारा प्रस्तावित वार्ता पर तुरंत सहमत होने के तुरंत बाद आया। यह चर्चा 15 मई को तुर्की में हो सकती है।

जेलेंस्की ने एक्स पर पोस्ट करते हुए लिखा, “यहां यूक्रेन में, हमें बातचीत में शामिल होने में कोई समस्या नहीं है, हम तैयार हैं। मैं इस गुरुवार 15 मई को तुर्किये में रहूंगा और मुझे उम्मीद है कि पुतिन भी तुर्किये आएंगे। मुझे उम्मीद है कि इस बार पुतिन बहाने नहीं ढूंढेंगे कि वे क्यों नहीं आ सकते। हम बातचीत करने, इस युद्ध को समाप्त करने के लिए तैयार हैं।”

इससे पहले रविवार को क्रेमलिन में पत्रकारों को संबोधित करते हुए पुतिन ने कीव अधिकारियों को बिना किसी पूर्व शर्त के सीधी वार्ता फिर से शुरू करने का प्रस्ताव दिया, जिसे “यूक्रेन ने 2022 में बाधित कर दिया था।” क्रेमलिन के प्रवक्ता दिमित्री पेस्कोव ने कहा कि कीव अधिकारियों के साथ सीधी बातचीत करने का राष्ट्रपति पुतिन का प्रस्ताव यूक्रेनी समस्या का शांतिपूर्ण समाधान खोजना है। यह उनकी मंशा की पुष्टि करता है।

रूसी टीवी चैनल पर पुतिन की पहल पर टिप्पणी करते हुए उन्होंने कहा, “यह एक बहुत ही गंभीर प्रस्ताव है, जो शांतिपूर्ण समाधान खोजने की वास्तविक मंशा की पुष्टि करता है।” प्रवक्ता ने कहा, “स्थायी शांति केवल गंभीर वार्ता के माध्यम से ही प्राप्त की जा सकती है, और इन वार्ताओं के लिए तत्परता अब (रूसी) राष्ट्रपति द्वारा दिखाई और प्रदर्शित की गई है।” रूसी सरकारी समाचार एजेंसी की रिपोर्ट के अनुसार, जेलेंस्की ने युद्ध विराम प्रस्ताव को अस्वीकार कर दिया और अपनी शर्तों पर लड़ाई में लंबे समय तक विराम की मांग की तथा मास्को में विजय दिवस समारोह के खिलाफ धमकी दी।

पुतिन ने रविवार को कहा कि रूस कीव सरकार की प्रतिक्रिया के आधार पर युद्ध विराम अवधि को आगे बढ़ा सकता है। दरअसल, मई में तीन दिवसीय विजय दिवस को देखते हुए रूस ने सीज फायर की घोषणा की थी। क्रेमलिन में पत्रकारों से बात करते हुए रूसी नेता ने कहा, “हमारे लिए ये पवित्र दिन है, हमने तीसरी बार युद्ध विराम की घोषणा की है। हमने पश्चिम में अपने सहयोगियों से कहा है कि हम इसे आगे बढ़ाने की संभावना से इनकार नहीं करते हैं। लेकिन, निश्चित रूप से, यह इन तीन दिनों में जो कुछ हुआ उसका विश्लेषण करने के बाद किया जाएगा, यह इस बात पर निर्भर करेगा कि कीव शासन इस पर क्या प्रतिक्रिया देती है।”

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